केंद्रीय जांच एजेंसी ने अपने सातवें पूरक आरोपपत्र में कहा कि आप प्रमुख, आरोपी संख्या 37, आबकारी नीति में लाभ के बदले शराब कारोबारियों से रिश्वत मांगने में शामिल थे। ईडी ने यह भी कहा कि ‘साउथ ग्रुप’ ने आप को 100 करोड़ रुपये दिए, जिसका इस्तेमाल पार्टी ने गोवा चुनाव प्रचार में किया। दिल्ली के मुख्यमंत्री और आप के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल 2021-22 के आबकारी नीति “घोटाले” के “सरगना” और “मुख्य साजिशकर्ता” थे।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मामले में अपने सातवें पूरक आरोपपत्र में कहा है। जांच एजेंसी ने 17 मई को आरोपपत्र दाखिल किया था, जिसमें उसने श्री केजरीवाल और आम आदमी पार्टी (आप) को आरोपी बनाया था।
ईडी ने कहा है कि आरोपपत्र में आरोपी नंबर 37 के रूप में सूचीबद्ध आप प्रमुख ने अपने कैबिनेट सहयोगियों, आप नेताओं और कुछ अन्य व्यक्तियों के साथ मिलकर “कुछ व्यक्तियों को लाभ पहुँचाने के उद्देश्य से एक साजिश रची”। एजेंसी ने कहा कि अब वापस ली गई नीति “साउथ ग्रुप” को लाभ पहुँचाने के लिए बनाई गई थी, जिसने बदले में आप को 100 करोड़ रुपये की रिश्वत दी। इसमें कहा गया है कि आप प्रमुख ने नकद हस्तांतरण और हवाला चैनलों का उपयोग करके अपराध की आय को छुपाया। एजेंसी ने यह भी कहा कि आबकारी नीति “आप के लिए लगातार धन जुटाने और उसे पहुँचाने की एक साजिश” का परिणाम थी और दिल्ली के सीएम शराब नीति में दिए गए लाभों के बदले शराब व्यवसायियों से रिश्वत मांगने में शामिल थे।