crossorigin="anonymous"> "एसएमएस लखनऊ में 'संस्टेनेबल बिजनेस स्ट्रेटीज फार ए शेयर्ड फ्यूचर' पर दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित" - Sanchar Times

“एसएमएस लखनऊ में ‘संस्टेनेबल बिजनेस स्ट्रेटीज फार ए शेयर्ड फ्यूचर’ पर दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित”

Spread the love

सम्मेलन के उद्घाटन सत्र में, प्रोफेसर डॉ. आशीष भटनागर, निदेशक, एस.एम.एस. लखनऊ ने सम्मेलन के महत्व पर प्रकाश डाला, कहा- विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञों को टिकाऊ व्यापार पारिस्थितिकी तंत्र बनाने के लिए अपने अनुभव साझा करने का अवसर मिला

प्रदीप कुमार सिंह
लखनऊ ब्यूरो (sanchartimes.news)

एस.एम.एस. लखनऊ ने 21 और 22 फरवरी 2025 को “संस्टेनेबल बिजनेस स्ट्रेटीज फार ए शेयर्ड फ्यूचर” विषय पर दो दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन का आयोजन किया। इस सम्मेलन का उद्देश्य दीर्घकालिक विकास और सामाजिक प्रभाव के लिए व्यवसायों में स्थिरता को एकीकृत करने के लिए नई रणनीतियों पर चर्चा करना था। यह सम्मेलन इंडियन सोसाइटी फॉर ट्रेनिंग एंड डेवलपमेंट (आईएसटीडी) और इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन (आईआईपीए) के सहयोग से आयोजित किया गया।

सम्मेलन के उद्घाटन सत्र में, प्रोफेसर (डॉ.) आशीष भटनागर, निदेशक, एस.एम.एस. लखनऊ ने सम्मेलन के महत्व पर प्रकाश डाला और कहा कि अब स्थिरता केवल एक विकल्प नहीं, बल्कि एक आवश्यकता बन चुकी है। उन्होंने इस सम्मेलन को एक मंच बताया जहां विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञों को टिकाऊ व्यापार पारिस्थितिकी तंत्र बनाने के लिए अपने अनुभव साझा करने का अवसर मिला।

इस अवसर पर श्री आर. रमानी, पूर्व मुख्य सचिव, उ.प्र. और अध्यक्ष आई.आई.पी.ए. (यू.पी. चैप्टर), प्रो. कृष्ण कुमार (पूर्व निदेशक, आईआईएम कोझीकोड), प्रो. वीरेंद्र कुमार मिश्रा (बीएचयू, वाराणसी) और प्रो. श्रुति शर्मा राणा (टीईआरआई, नई दिल्ली) जैसे प्रमुख व्यक्ति उपस्थित थे। सभी ने व्यवसायों में स्थिरता को एकीकृत करने के महत्व पर अपने विचार साझा किए।

प्रो. कृष्ण कुमार और प्रो. वी.के. मिश्रा ने इस बात पर जोर दिया कि जो व्यवसाय स्थिरता को प्राथमिकता देंगे, वे आने वाले समय में बाजारों का नेतृत्व करेंगे। श्री आर. रमानी ने व्यवसायों को पर्यावरणीय और सामाजिक चुनौतियों का समाधान करते हुए दीर्घकालिक आर्थिक लचीलापन सुनिश्चित करने के लिए स्थायी प्रथाओं को अपनाने की आवश्यकता पर जोर दिया।

सम्मेलन में विभिन्न विषयों पर विचार-विमर्श किया गया, जिनमें शैक्षणिक व औद्योगिक स्थिरता, फैशन उद्योग में स्थिरता, भविष्य के लिए रणनीतिक निर्णय, वित्तीय स्थिरता और वृत्तीय अर्थव्यवस्था शामिल थे। इस दौरान, देशभर के शोधकर्ताओं ने 70 शोध पत्र प्रस्तुत किए, जिसमें से श्री शिवासुब्रमण्यम इमानी को सर्वश्रेष्ठ शोधपत्र के लिए पुरस्कार मिला।

समापन सत्र में, प्रो. पवनेश कुमार (इग्नू) और श्री सुधांशुमणि (जी.एम. भारतीय रेलवे) ने अपने विचार साझा किए, और प्रो. अजय प्रकाश (लखनऊ प्रबंधन विश्वविद्यालय) ने समापन भाषण में कॉर्पोरेट स्थिरता के महत्व पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि कॉर्पोरेट स्थिरता सिर्फ अनुपालन से संबंधित नहीं है, बल्कि यह नेतृत्व और जवाबदेही से जुड़ा हुआ है।

इस सम्मेलन में शिक्षाविदों, शोधकर्ताओं, कॉर्पोरेट पेशेवरों और छात्रों की भागीदारी को विशेष रूप से सराहा गया, जो स्थायी व्यावसायिक प्रथाओं के विकास में रुचि रखते थे।


Spread the love