
हैदर अली, संचार टाइम्स ब्यूरो रोहतास
रोहतास: “न तो बिहार की मानसिकता बदली, न हालात, और न ही नेताओं के परिवार बदले। अब समय है सोच बदलने का।” यह बात रोहतास नगर पंचायत के मुख्य पार्षद-प्रतिनिधि एवं जनसुराज नेता तोराब नियाज़ी ने कही। वे एक स्थानीय जनसुराज कार्यक्रम में लोगों को संबोधित कर रहे थे। तोराब नियाज़ी ने कहा कि जनसुराज के सूत्रधार प्रशांत किशोर एक नई राजनीतिक सोच लेकर बिहार में परिवर्तन की राह पर निकले हैं। जाति, धर्म और परिवारवाद की राजनीति से ऊपर उठकर वे बिहार को एक नई दिशा देने का सपना देख रहे हैं।

एक सवाल के जवाब में कि क्या राजद मुसलमानों की हितैषी पार्टी है, तोराब नियाज़ी ने स्पष्ट कहा, “राजद का मुसलमान वोटर अब गुलाम नहीं है। उसका तथाकथित मुस्लिम-यादव समीकरण केवल एक छलावा है। यदि वास्तव में राजद मुसलमानों और यादवों की हितैषी है, तो वह परिवार से बाहर के किसी यादव को मुख्यमंत्री और किसी मुसलमान को उपमुख्यमंत्री घोषित करे, तब उसकी नीयत पर भरोसा किया जाएगा।” उन्होंने राजद को “पारिवारिक दल” बताते हुए कहा कि आज जनता बदलाव चाहती है, लेकिन बदलाव लाने के लिए पहले जातिगत और सांप्रदायिक मानसिकता को बदलना जरूरी है।
तोराब नियाज़ी ने कौमी एकता की बात करते हुए कहा कि, “यहाँ हर व्यक्ति पहले भारतीय है, फिर हिन्दू या मुसलमान। प्रशांत किशोर की सोच जाति और धर्म की दीवारों को तोड़कर एक समृद्ध बिहार के निर्माण की है।” उन्होंने अंत में लोगों से अपील की कि इस बार वोट सिर्फ जाति या धर्म देखकर नहीं, बल्कि बच्चों के भविष्य को ध्यान में रखकर दें। “अगर अब भी नहीं चेते तो अफसोस के अलावा कुछ हाथ नहीं लगेगा,” उन्होंने कहा।
