
वाजिमा (एपी)। जापान के पश्चिमी तट पर पिछले सप्ताह आए भूकंप के बाद राहत एवं बचाव दलों को सुदूर क्षेत्रों के ग्रामीण इलाकों में राहत सामग्री की आपूर्ति पहुंचाने में बर्फबारी के कारण कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। भूकंप के कारण अब तक 128 लोगों की मौत हो चुकी है।
भूकंप से सबसे अधिक प्रभावित क्षेत्र इशिकावा प्रांत में रविवार को रात भर बर्फबारी होने का अनुमान है, जिससे स्थिति और विकट हो सकती है। सोमवार को आए 7.6 तीव्रता वाले भूकंप के बाद से 195 लोग अब भी लापता बताए जा रहे हैं और भूकंप के कारण 560 लोग घायल हुए हैं। इस भीषण भूकंप के बाद नोटो प्रायद्वीप में कई बार भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए। ताइयो मत्सुशिता अपने परिवार के लिए भोजन और अन्य सामान खरीदने के लिहाज से वाजिमा शहर में एक सुपरमार्केट तक पहुंचने के लिए कीचड़ में तीन घंटे पैदल चले। वह अपनी पत्नी और चार बच्चों के साथ इलाके में रहते हैं। भूकंप के कारण उनका और आसपास के लगभग 20 घर प्रमुख इलाकों और बाजार से पूरी तरह से कट चुके हैं। उन्होंने बताया कि भूकंप के कारण बिजली चली गई और कुछ ही घंटों में वे अपने सेल फोन का उपयोग भी नहीं कर पा रहे थे। मत्सुशिता ने कहा, हम चाहते हैं कि हर किसी को पता चले कि कुछ जगहों पर राहत सामग्री की मदद नहीं मिल रही है। हम यहां रहने वाले लोगों से ऐसा लगाव महसूस करते हैं। लेकिन, जब मैं अपने बच्चों के बारे में सोचता हूं, तो यह कल्पना करना कठिन होता है कि हम यहां रह सकते हैं।
इशिकावा प्रांत के अधिकारियों का कहना है कि भूकंप के कारण 1,370 घर पूरी तरह अथवा आंशिक रूप से नष्ट हो गए हैं। मुख्य द्वीप के पश्चिमी तटीय क्षेत्र में कई घर पुराने और लकड़ी के हैं। टूटी-फूटी, ऊबड़-खाबड़ सड़कों पर गाड़ियां उलटी पड़ी हैं। बर्फ ने मलबे और राजमागरें को ढक दिया है। बिजली के तार आड़े-तिरछे खंभों से लटके हुए हैं।

