उत्तर प्रदेश में पिछले 24 घंटों में बारिश से संबंधित घटनाओं में कम से कम उन्नीस लोगों की मौत हो गई है। राज्य राहत आयुक्त कार्यालय ने बताया कि चार की मौत बिजली गिरने से और दो की डूबने से हुई। इसमें कहा गया है कि हरदोई में चार, बाराबंकी में तीन, प्रतापगढ़ और कन्नौज में दो-दो और अमेठी, देवरिया, जालौन, कानपुर, उन्नाव, संभल, रामपुर और मुजफ्फरनगर जिलों में एक-एक मौत की सूचना मिली है। पिछले 24 घंटे में प्रदेश के 22 जिलों में 40 मिमी से अधिक बारिश हुई है, जिनमें मुरादाबाद, संभल, कन्नौज, रामपुर, हाथरस, बाराबंकी, कासगंज, बिजनौर, अमरोहा, बहराईच, लखनऊ, बदांयू, मैनपुरी, हरदोई, फिरोजाबाद, बरेली, शाहजहाँपुर, कानपुर, सीतापुर फर्रुखाबाद, लखीमपुर खीरी और फ़तेहपुर शामिल हैं।
एक सरकारी प्रवक्ता के मुताबिक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रभावित जिलों के अधिकारियों को पूरी तत्परता से राहत कार्य चलाने के निर्देश दिये हैं। प्रवक्ता ने बताया कि आदित्यनाथ ने अधिकारियों को इलाकों का दौरा करने और राहत कार्यों पर नजर रखने को कहा है और आपदा से प्रभावित लोगों को तुरंत अनुमेय राहत राशि वितरित करने को कहा है। जल भराव की स्थिति में समुचित जल निकासी की प्रभावी व्यवस्था की जाय तथा नदियों के जल स्तर की निरन्तर निगरानी की जाय। अधिकारी ने सीएम के हवाले से कहा कि फसलों को हुए नुकसान का आकलन किया जाना चाहिए और रिपोर्ट सरकार को उपलब्ध करायी जानी चाहिए ताकि प्रभावित किसानों को नियमानुसार मुआवजा राशि प्रदान की जा सके।
योगी ने साफ तौर पर कहा कि जो सड़कें नई बनेंगी, उनकी पांच साल की गारंटी होगी। उन्होंने कहा कि जब आप (अधिकारी) वहां जाएं तो आपको पूरे जिले की समीक्षा करनी होगी। औचक दौरे करें और काम की गुणवत्ता जांचें। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि किसी भी अपराधी या माफिया को ठेका हासिल करने से दूर रखा जाना चाहिए। ठेका उससे जुड़े किसी भी व्यक्ति तक नहीं पहुंचना चाहिए। योगी आदित्यनाथ ने कहा कि हमें यह सुनिश्चित करने की जरूरत है कि हर विभाग अपनी जिम्मेदारी निभाए। हमें सड़कों के नव निर्माण की दिशा में आगे बढ़ना होगा। अधिकांश सड़कें क्षतिग्रस्त होने के कारण जलभराव की समस्या रहती है। सीएम ने सभी विभागों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया कि सड़क निर्माण एजेंसी/ठेकेदार सड़क निर्माण के बाद अगले 05 वर्षों तक सड़क के रख-रखाव की जिम्मेदारी भी ले।