हैदर अली
रोहतास ब्यूरो (संचारटाइम्स.न्यूज)
रोहतास जिले में धान की बंपर खेती होती है, लेकिन धान की कटाई के बाद किसानों द्वारा पराली को खेतों में जलाने की समस्या लगातार बनी हुई है। पराली जलाने से प्रदूषण की समस्या बढ़ रही है और खेतों की उर्वरा शक्ति भी क्षीण हो रही है। हालांकि प्रशासन द्वारा कई जागरूकता अभियान चलाए जा रहे हैं और किसानों को पराली जलाने से रोकने के लिए मुकदमा करने की धमकी दी जा रही है, फिर भी किसान इसे छोड़ने को तैयार नहीं हैं।
किसानों का कहना है कि खेतों को जल्दी से साफ करना और अगली फसल की बुवाई के लिए समय बचाना जरूरी होता है, लेकिन पराली जलाने से खेत की उर्वरा शक्ति प्रभावित होती है और पर्यावरण भी दूषित होता है। गांव के लोग बताते हैं कि पराली जलाने से वायु गुणवत्ता खराब हो रही है, जिससे सांस लेने में भी दिक्कत हो रही है। सुबह सुबह गांव में टहलने वाले लोग भी प्रदूषण की समस्या का सामना कर रहे हैं।
हालांकि यह समस्या जिले के सभी क्षेत्रों में समान रूप से पाई जा रही है, लेकिन किसानों की मजबूरी है कि कम मजदूरी में खेतों को साफ करने के लिए वे पराली जलाने को मुनासिब समझते हैं।