ST.News Desk : अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ऐसे कदम उठाए हैं, जिन्होंने भारत के दुश्मन देशों को रातों रात ध्वस्त कर दिया है। इसके साथ ही ट्रंप ने बांग्लादेश, चीन और कनाडा पर कड़ा एक्शन लिया है, जो भारत के लिए एक महत्वपूर्ण रणनीतिक बदलाव का संकेत है।
ट्रंप ने सबसे पहले बांग्लादेश को दी जाने वाली फंडिंग को रोक दिया और चीन पर 10% तथा कनाडा पर 25% टैरिफ लगा दिए। इसके पीछे कारण यह बताया गया कि ये देश अमेरिका के व्यापार घाटे में सबसे अधिक योगदान दे रहे थे। इसके बावजूद, ट्रंप ने भारत को 25% टैरिफ से बाहर रखा, जिससे यह संकेत मिल रहा है कि वह पीएम नरेंद्र मोदी के साथ अपने अच्छे रिश्तों को बनाए रखने की कोशिश कर रहे हैं।
इन कदमों से भारत को निर्यात और विदेशी निवेश में इजाफे का मौका मिल सकता है। लेकिन सबसे बड़ा कदम यह था जब ट्रंप ने यूएसएआईडी (United States Agency for International Development) नामक संस्था पर सर्जिकल स्ट्राइक की। इस संस्था का काम कथित तौर पर दूसरे देशों की सरकारें गिराना और विरोध प्रदर्शन को बढ़ावा देना था। रिपोर्ट्स के मुताबिक, यूएसएआईडी ने बांग्लादेश में सरकार गिराने में भी भूमिका निभाई थी।
डोनाल्ड ट्रंप ने इस संस्था पर तगड़ा प्रहार करते हुए इसके कर्मचारियों को वाशिंगटन स्थित मुख्यालय न आने का निर्देश दिया। इसके बाद, यूएसएआईडी के कर्मचारियों ने बताया कि वे कंप्यूटर सिस्टम से बाहर कर दिए गए थे। इसके अलावा, ट्रंप के सलाहकार और टेस्ला के सीईओ एलन मस्क ने कहा था कि ट्रंप ने यूएसएआईडी को बंद करने पर सहमति जताई है।
यह कदम अमेरिका के डेमोक्रेटिक पार्टी के सांसदों के लिए विवाद का कारण बना है, क्योंकि उनका कहना है कि ट्रंप के पास बिना कांग्रेस की मंजूरी के यूएसएआईडी को बंद करने का संवैधानिक अधिकार नहीं है। हालांकि, यह साफ है कि ट्रंप ने अमेरिका के बड़े लक्ष्यों और सुरक्षा के लिए यह कदम उठाया है, जो भारत सहित कई देशों के लिए फायदेमंद हो सकता है।